'कौन आ रहा, कौन नहीं आ रहा है...' पुतिन और जिनपिंग के जी20 में शामिल न होने पर विदेश मंत्री ने दिया बड़ा बयान
'कौन आ रहा, कौन नहीं आ रहा है...' पुतिन और जिनपिंग के जी20 में शामिल न होने पर विदेश मंत्री ने दिया बड़ा बयान
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के जी20 शिखर सम्मेलन में भाग नहीं लेने पर विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि मुझे लगता है इतिहास में झांके तो जी20 सम्मेलन में अलग-अलग समय पर कुछ राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री ने किसी भी वजह से स्वयं न आने का निर्णय लिया है। हर कोई बहुत गंभीरता के साथ इस सम्मेलन में हिस्सा लेने वाला है।
पुतिन और शी जिनपिंग के जी20 शिखर सम्मेलन में भाग नहीं लेने पर विदेश मंत्री ने की टिप्पणी।
HIGHLIGHTSहर देश बहुत ही गंभीरता के साथ इस सम्मेलन में हिस्सा लेने वाले हैं: विदेश मंत्री
सम्मेलन में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीन के राष्ट्पति शी जिनपिंग नहीं ले रहे हिस्सा
गुरुवार को राष्ट्रपति बाइडन दिल्ली आएंगे
नई दिल्ली,एएनआई। G20 Meeting। भारत जी20 शिखर सम्मेलन की अध्यक्षता के लिए तैयार है। कुछ ही दिनों में दुनियाभर के प्रमुख राजनेता दिल्ली आने वाले हैं। हालांकि, इस सम्मेलन में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग हिस्सा नहीं लेने वाले हैं। वहीं, गुरुवार को अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन भारत आने वाले हैं।
पुतिन और जिनपिंग के न आने पर क्यो बोले विदेश मंत्री
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के दिल्ली में जी20 शिखर सम्मेलन में भाग नहीं लेने पर विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा, "मुझे लगता है इतिहास में झांके तो जी20 सम्मेलन में अलग-अलग समय पर कुछ राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री ने किसी भी वजह से स्वयं न आने का निर्णय लिया है, लेकिन उस अवसर पर जो भी उस देश का प्रतिनिधि होते हैं, वह अपने देश और उसकी स्थिति को सामने रखते हैं।"
UP Rain Alert : अगले 24 घंटों में इन 10 जिलों में होगी बारिश, दो-तीन दिन में गर्मी से मिलेगी राहतUP Rain Alert : पिछले कई दिनों से प्रदेशभर में मानसून की रफ्तार पर पूरी तरह ब्रेक लग गया है। इस वजह से उमस और गर्मी बढ़ गई। लोगों को सुबह से लेकर रात तक भीषण गर्मी का सामना करना पड़ रहा है, लेकिन इस बीच मौसम विभाग द्वारा मंगलवार से राज्य के कई जिलों में छिटपुट बारिश की संभावना जताई गई है।अगले दो-तीन दिनों में लोगों को गर्मी से राहत मिल सकती है।
विदेश मंत्री ने आगे कहा कि मुझे लगता है कि हर कोई (देश) बहुत गंभीरता के साथ इस सम्मेलन में हिस्सा लेने वाला है। इस सम्मेलन में कौन आ रहा है और कौन नहीं आ रहा है मुद्दा नहीं है।
विदेश मंत्री ने आगे कहा कि यह फर्क नहीं पड़ता है कौन देश इस सम्मेलन में किसे भेजता है ये मायने नहीं रखता है बल्कि मायने ये रखता है कि उस देश का क्या रुख है। हमें इंतजार करना चाहिए और देखना चाहिए कि बातचीत में वास्तव में क्या होता है।
दिल्ली के बाहर हुए बैठकों पर क्या बोले विदेश मंत्री?
इस साल देशभर में यानी कश्मीर से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक जी20 बैठक का सफलतापूर्वक आयोजन किया गया।
कुछ दिनों पहले पीएम मोदी ने कहा था, "देश भर में जी-20 कार्यक्रमों की मेजबानी करने का उनकी सरकार का निर्णय लोगों, शहरों और संस्थानों के बीच क्षमता निर्माण में एक निवेश है। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने जी20 आयोजनों के पैमाने पर सवाल उठाने के लिए विपक्ष को निशाना साधा है।
उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि पिछली सरकारें सिर्फ दिल्ली में ही बड़ी बैठकों का आयोजन कराने में विश्वास रखती थी। अगर पहले किसी को लगता था कि वो दिल्ली में लुटियंस दिल्ली में ही बैठकों को आयोजित करने में आराम महसूस करते हैं तो वो उनका अपना विश्वास है। लेकिन, मौजूदा समय की सरकार अलग है। यह एक अलग युग है।
एस जयशंकर ने विपक्ष पर साधा निशाना
विदेश मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चाहते हैं कि पूरे देश में जी20 की भागीदारी और स्वामित्व की भावना हो। जी20 एक ऐसी चीज है जिसे एक राष्ट्रीय प्रयास के रूप में माना जाना चाहिए, जिसमें भारत के विभिन्न हिस्सों में भागीदारी की भावना होनी चाहिए।
एस जयशंकर ने आगे कहा,"यदि आप G20 आयोजनों को देखें। इसका अधिकांश आयोजन उन राज्यों में किया गया जहां भाजपा सरकारों का शासन नहीं है।''
उन्होंने विपक्षी नेताओं पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग 1983 के समय में ही अटके हुए हैं। जो लोग उस दौर में अटके हुए हैं वो उसी दौर में अटके रहे सकते हैं। मौजूदा सरकार लोकतांत्रित मानसिकता पर काम करती है।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के जी20 शिखर सम्मेलन में भाग नहीं लेने पर विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि मुझे लगता है इतिहास में झांके तो जी20 सम्मेलन में अलग-अलग समय पर कुछ राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री ने किसी भी वजह से स्वयं न आने का निर्णय लिया है। हर कोई बहुत गंभीरता के साथ इस सम्मेलन में हिस्सा लेने वाला है।

HIGHLIGHTSहर देश बहुत ही गंभीरता के साथ इस सम्मेलन में हिस्सा लेने वाले हैं: विदेश मंत्री
सम्मेलन में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीन के राष्ट्पति शी जिनपिंग नहीं ले रहे हिस्सा
गुरुवार को राष्ट्रपति बाइडन दिल्ली आएंगे
नई दिल्ली,एएनआई। G20 Meeting। भारत जी20 शिखर सम्मेलन की अध्यक्षता के लिए तैयार है। कुछ ही दिनों में दुनियाभर के प्रमुख राजनेता दिल्ली आने वाले हैं। हालांकि, इस सम्मेलन में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग हिस्सा नहीं लेने वाले हैं। वहीं, गुरुवार को अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन भारत आने वाले हैं।
पुतिन और जिनपिंग के न आने पर क्यो बोले विदेश मंत्री
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के दिल्ली में जी20 शिखर सम्मेलन में भाग नहीं लेने पर विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा, "मुझे लगता है इतिहास में झांके तो जी20 सम्मेलन में अलग-अलग समय पर कुछ राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री ने किसी भी वजह से स्वयं न आने का निर्णय लिया है, लेकिन उस अवसर पर जो भी उस देश का प्रतिनिधि होते हैं, वह अपने देश और उसकी स्थिति को सामने रखते हैं।"
UP Rain Alert : अगले 24 घंटों में इन 10 जिलों में होगी बारिश, दो-तीन दिन में गर्मी से मिलेगी राहतUP Rain Alert : पिछले कई दिनों से प्रदेशभर में मानसून की रफ्तार पर पूरी तरह ब्रेक लग गया है। इस वजह से उमस और गर्मी बढ़ गई। लोगों को सुबह से लेकर रात तक भीषण गर्मी का सामना करना पड़ रहा है, लेकिन इस बीच मौसम विभाग द्वारा मंगलवार से राज्य के कई जिलों में छिटपुट बारिश की संभावना जताई गई है।अगले दो-तीन दिनों में लोगों को गर्मी से राहत मिल सकती है।
विदेश मंत्री ने आगे कहा कि मुझे लगता है कि हर कोई (देश) बहुत गंभीरता के साथ इस सम्मेलन में हिस्सा लेने वाला है। इस सम्मेलन में कौन आ रहा है और कौन नहीं आ रहा है मुद्दा नहीं है।
विदेश मंत्री ने आगे कहा कि यह फर्क नहीं पड़ता है कौन देश इस सम्मेलन में किसे भेजता है ये मायने नहीं रखता है बल्कि मायने ये रखता है कि उस देश का क्या रुख है। हमें इंतजार करना चाहिए और देखना चाहिए कि बातचीत में वास्तव में क्या होता है।
दिल्ली के बाहर हुए बैठकों पर क्या बोले विदेश मंत्री?
इस साल देशभर में यानी कश्मीर से लेकर अरुणाचल प्रदेश तक जी20 बैठक का सफलतापूर्वक आयोजन किया गया।
कुछ दिनों पहले पीएम मोदी ने कहा था, "देश भर में जी-20 कार्यक्रमों की मेजबानी करने का उनकी सरकार का निर्णय लोगों, शहरों और संस्थानों के बीच क्षमता निर्माण में एक निवेश है। विदेश मंत्री एस जयशंकर ने जी20 आयोजनों के पैमाने पर सवाल उठाने के लिए विपक्ष को निशाना साधा है।
उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि पिछली सरकारें सिर्फ दिल्ली में ही बड़ी बैठकों का आयोजन कराने में विश्वास रखती थी। अगर पहले किसी को लगता था कि वो दिल्ली में लुटियंस दिल्ली में ही बैठकों को आयोजित करने में आराम महसूस करते हैं तो वो उनका अपना विश्वास है। लेकिन, मौजूदा समय की सरकार अलग है। यह एक अलग युग है।
एस जयशंकर ने विपक्ष पर साधा निशाना
विदेश मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी चाहते हैं कि पूरे देश में जी20 की भागीदारी और स्वामित्व की भावना हो। जी20 एक ऐसी चीज है जिसे एक राष्ट्रीय प्रयास के रूप में माना जाना चाहिए, जिसमें भारत के विभिन्न हिस्सों में भागीदारी की भावना होनी चाहिए।
एस जयशंकर ने आगे कहा,"यदि आप G20 आयोजनों को देखें। इसका अधिकांश आयोजन उन राज्यों में किया गया जहां भाजपा सरकारों का शासन नहीं है।''
उन्होंने विपक्षी नेताओं पर निशाना साधते हुए कहा कि कुछ लोग 1983 के समय में ही अटके हुए हैं। जो लोग उस दौर में अटके हुए हैं वो उसी दौर में अटके रहे सकते हैं। मौजूदा सरकार लोकतांत्रित मानसिकता पर काम करती है।
Labels
Desh
Post A Comment
No comments :